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फ़ोन की बैटरी लाइफ से परेशान है तो आजमाइए ये 8 टिप्स ....

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 नमस्कार दोस्तों
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दोस्तों ज्यादातर लैपटॉप और स्मार्टफोन हाई-रिज़ॉल्यूशन वाले बड़े डिस्प्ले, पावरफुल प्रोसेसर और ज्यादा मैमोरी के साथ आते हैं | इसका मतलब यह भी है कि ऐसे में फोन की बैटरी को पूरे दिन चलने में परेशनी होगी और इस कारण से ही फ़ास्ट चार्जर और पावर बैंक मजबूरी बन गए हैं | जैसे-जैसे स्मार्टफोन की बैटरी पुरानी होती जाती है, बार-बार पावर प्लग इस्तेमाल करने की ज़रूरत भी बढ़ती जाती है | आजकल ज्यादातर इलेक्ट्रॉनिक्स डिवाइस लिथियम इयॉन और लिथियम पॉली बैटरी के साथ आते हैं लेकिन ज़रूरी नहीं है कि इससे आपको लंबी बैटरी लाइफ मिले , बैटरी की उम्र को ध्यान में रखते हुए कुछ लोग मोबाइल और अपने लैपटॉप को अपग्रेड कर लेते है लेकिन इन टिप्स से आप बिना अपने डिवाइस को अपग्रेड किये हुए लम्बा बैटरी बैकअप पा सकते है | चाहे आप कोई भी इलेक्ट्रोनिक डिवाइस का इस्तेमाल करते हों | ये टिप्स आपके डिवाइस की बैटरी लाइफ बढ़ाने में हमेशा मदद करेंगे -



» अपने डिवाइस के तापमान का रखें ध्यान -    
बैटरी को ज्यादा तापमान में इस्तेमाल करना, इसकी साइकलिंग से भी ज्यादा परेशान करने वाला हो सकता है | ज्यादा तापमान और बढ़ती उम्र धीरे-धीरे बैटरी की परफॉर्मेंस को कम कर देते हैं | कम तापमान में डिवाइस का इस्तेमाल करने से उसकी परफोर्मेंस बेहतर होगी | आप अपने डिवाइस को गर्मी से बचाने की कोशिश करें, जैसे कि तपती गर्मी में अपने मोबाइल को कार के डैशबोर्ड पर छोड़ने की गलती ना करें |
दोस्तों स्मार्टफोन के ज्यादा गर्म होने की समस्या से परेशान होना वाजिब है, क्योंकि बीतते समय के साथ बैटरी लाइफ बहुत ज्यादा कमज़ोर हो जाती है | लैपटॉप में इस बात का ध्यान रखें कि आप कूलिंग पैड का इस्तेमाल कर रहे हैं, ताकि सीपीयू वेंट से गर्म हवा आसानी से निकल जाए |
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» प्रिमियम ऐप का इस्तेमाल करें -
विज्ञापन के साथ आने वाले ऐप्स आपके डिवाइस की बैटरी लाइफ औसतन 2.5 से 2.1 घंटे तक कम कर सकते हैं | एक अध्ययन के मुताबिक , फोन का प्रोसेसर उसके दिमाग की तरह होता है | विज्ञापन भी इस दिमाग के कुछ हिस्सों का इस्तेमाल करता है जिस कारण से यह धीमा पड़ जाता है।
ऐसा नहीं है कि सभी फ्री ऐप्स आपकी बैटरी पर असर डाल रहे हैं, लेकिन अगर आपको उस पर कोई विज्ञापन नज़र आए तो समझ लीजिए कि यह बैंडविथ और प्रोसेसर पर असर डालेगा ही |
आप अपने डिवाइस में मोजूद एप से भी काम कर सकते है जैसे की लैपटॉप पर टेक्स्ट को एडिट करने के लिए सिस्टम में मौजूद एप्लिकेशन को इस्तेमाल करना ज्यादा बेहतर होगा | ऐसा करने से ब्राउज़र इस्तेमाल करने की तुलना में ज्यादा कम बैटरी खपत होगी |

» अपने फ़ोन की लोकेशन बंद रखें -
दोस्तों यह सही है कि फेसबुक ऐप आईफोन की बैटरी को जल्दी खत्म कर देता है क्योंकि यह बार-बार जीपीएस मॉड्यूल का इस्तेमाल करके यूज़र की लोकेशन जानता रहता है | ऐसे में जिन ऐप को आपके लोकेशन की ज़रूरत नहीं है, उनके लोकेशन ट्रैकिंग को ऑफ कर देने से ज़रूर मदद मिलेगी |
ज्यादा एंड्रॉयड डिवाइस पर आप सेटिंग्स के बाद लोकेशन में जाकर लोकेशन ट्रैकिंग को पूरी तरह से ऑफ कर सकते हैं | ऐप के स्तर पर यह तय करने का विकल्प फिलहाल सिर्फ एंड्रॉयड मार्शमैलो में दिया गया है।
» थोड़ा-थोड़ा चार्ज़ करें -
दोस्तों बैटरी को 100 फीसदी से सीधे ले जाकर शून्य पर खत्म करने से बेहतर है कि आप इसे 50 फीसदी तक ही डिस्चार्ज़ होने दें | ऐसा करने से आपके बैटरी की डिस्चार्ज़ साइकिल तीन गुनी बढ़ जाएगी | लेनेवो इस सिद्धांत का इस्तेमाल बैटरी मेनटेनेंस सेटिंग्स में करता है | इसे आप अपनी ज़रूरतों के हिसाब से कस्टमाइज़ भी कर सकते हैं | बैटरी को कई साल तक इस्तेमाल करने योग्य बनाने कि लिए लेनेवो का सुझाव है कि आप चार्जिंग का पैटर्न 40 फीसदी से शुरुआत और 50 फीसदी पर बंद, तय कर दें |



» डिस्प्ले की ब्राइटनेस कम रखें -
ज्यादातर डिवाइस में ब्राइटनेस सेटिंग्स को आसानी से इस्तेमाल कर सकते हैं या फिर स्क्रीन की ब्राइटनेस को लक्स जैसे थर्ड-पार्टी ऐप्स से कम कर सकते हैं | ये एप डिस्प्ले की ब्राइटनेस कम करने के अलावा स्क्रीन का कलर कास्ट को भी बदल सकते है | डिवाइस के बंद रहने पर आपका डिस्प्ले कितनी देर तक ऑन रहे, यह सेट करके भी आप थोड़ी बैटरी बचा सकते हैं |
» वाई-फाई पर ऐप अपडेट करें -
दोस्तों आमतौर पर कोई भी एक्शन जिससे प्रोसेसर या बैंडविथ पर दबाव पड़ता है, वह ज्यादा ही सीपीयू पावर लेगा | इसलिए बेहतर यही होगा कि आप मोबाइल को अपडेट या ज्यादा एमबी की फाइल डाउनलोड करते समय डेटा इंटरनेट के बजाय वाई-फाई का इस्तेमाल करे |
एंड्रॉयड पर प्ले स्टोर ऐप में इस सेटिंग तक पहुंच सकते हैं | ऐप को लॉन्च करें | स्क्रीन पर बाएं तरफ से स्वैप करके मेन्यू खोलें | इसके बाद सेटिंग्स मे जाएं, फिर ऑटो-अपडेट ऐप्स में | इसके बाद वाई-फाई ओनली मोड को ही चुनें |






» लो पावर मोड को ऑन करें -
 दोस्तों सभी एंड्रॉयड फोन में बैटरी सेवर मोड मौजूद नहीं है | अगर आप एंड्रॉयड 5.0 या उसके बाद के वर्ज़न को इस्तेमाल कर रहें तो आपके डिवाइस पर इस मोड के मौजूद रहने की संभावना ज्यादा है | जैसे ही आपके फोन की बैटरी 15 फीसदी पर पहुंचती है, यह अपने आप एक्टिव हो जाता है | यह बैकग्राउंड ऐप रिफ्रेश, लोकेशन ट्रैकिंग और सिंक एक्टिविटी को बंद कर देता है, ताकि बैटरी लाइफ बचाई जा सके | एंड्रॉयड मार्शमैलो डोज़ फीचर के साथ आता है | अगर आप अपने फोन लंबे समय तक इस्तेमाल नहीं करते हैं तो यह फ़ीचर आपके फोन को डीप स्लो मोड में भेज देता है | इस फ़ीचर के कारण स्टैंडबाय टाइम दोगुना हो जाता है | अगर आप पुराने वर्ज़न वाले एंड्रॉयड फोन का इस्तेमाल कर रहे हैं तो आपको यह फ़ीचर नहीं मिलेगा |
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» फ्लाइट मोड का इस्तेमाल करें -
अगर आपका फोन सेलुलर टावर के नजदीक नहीं है तो इसका असर स्टैंडबाय टाइम पर भी पड़ेगा | अगर आप ऐसी जगह पर हैं जहां कोई नेटवर्क नहीं है तो बेहतर होगा कि फोन में एयरप्लेन मोड (फ्लाइट मोड) एक्टिव कर लें | नहीं तो आपका फोन ऐसी जगहों पर बार-बार नेटवर्क तलाश करेगा जिसका असर बैटरी लाइफ पर पड़ेगा |


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